यूक्रेन से अपने घर पहुंचे छात्र का हुआ भव्य स्वागत-आंचलिक ख़बरें-दीपक कुमार

Aanchalik Khabre
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खबर उत्तर प्रदेश के अमरोहा से, जहां यूक्रेन में पढ़ रहे एम बी बी एस छात्र हसनपुर निवासी सलमान अजमल, आज स्लोवाकिया के कोशिके शहर से भारत की राजधानी दिल्ली पहुंच गए. जहां उनके भाई डाक्टर रईस ने दिल्ली एयरपोर्ट पर उन्हें रिसीव किया। और अपनी कार द्वारा उन्हें घर वापस लेकर आए। हसनपुर पहुंचने पर वरिष्ठ अधिवक्ता और मानवाधिकार कार्यकर्ता मुजाहिद चौधरी,नगर पालिका हसनपुर के पूर्व सदस्य बदर कुरैशी, जीशान कुरैशी,तहसील बार हसनपुर के पूर्व अध्यक्ष महिपाल सिंह और सलमान अजमल के परिवार जनों ने घर पहुंचने पर उनका स्वागत किया । घर पहुंचने पर सलमान अजमल ने जंग के दौरान यूक्रेन में मौत की दहशत में गुजारे हुए पलों को याद करते हुए, बताया कि दिन रात धमाकों और गोली चलने की आवाज आती रहती थी वह कभी बंकर में रहने को मजबूर थे. और कभी कभी बाहर भी निकलते थे । लेकिन कहीं चैन नहीं था । हर वक्त अपने देश अपने घर, अपने परिवार की याद आती थी । हम सब ने रो-रोकर दूतावास से स्वदेश भेजने हेतु मदद करने को कहा । लेकिन वहां उनकी मदद करने वाला कोई नहीं था । सलमान ने बताया कि उनके साथ मौ.आसिम, महफूज,अंशुमन यादव, कमर जहां,लुमैश साहू, आदित्य सहित दर्जनों छात्र भारत सरकार की मदद से ऑपरेशन गंगा के तहत सकुशल भारत वापस आ पाए हैं । सलमान अजमल ने स्लोवाकिया स्थित भारतीय दूतावास तथा भारत सरकार द्वारा चलाए जा रहे ऑपरेशन गंगा की खूब तारीफ की । उसने भारत सरकार और दूतावास के अधिकारियों तथा केंद्रीय विदेश राज्य मंत्री किरण रिजिजू का भी आभार व्यक्त किया । परंतु उन्होंने यूक्रेन की राजधानी कीव में । सलमान ने बताया कि वह अपने साथियों के साथ अपनी व्यवस्था से ही पहले पैदल रेलवे स्टेशन पहुंचे और रेलवे स्टेशन पर कोई दूतावास द्वारा विशेष टीम की व्यवस्था ना होने पर रुपए खर्च कर बस द्वारा स्लोवाकिया पहुंचने में कामयाब हुए । रास्ते में चेक पोस्टों पर सैनिक और नागरिक हथियारों से लैस खड़े थे, लेकिन वह भगवान की मदद से स्लोवाकिया पहुंचने में कामयाब रहे जहां स्लोवाकिया के नागरिकों और सरकार ने भी उनकी काफी सहयोग किया । उन्होंने स्पष्ट किया कि भारतीय दूतावास के अधिकारियों व कर्मचारियों ने कीव में उनकी अथवा दूसरे छात्रों की कोई मदद नहीं की और ना ही उनके लिए किसी बस या ट्रेन की व्यवस्था कराई । भारतीय दूतावास ने केवल एडवाइजरी जारी करने का काम किया । सलमान अपने देश, अपने घर पहुंच कर अपने परिवार और नगर वासियों से मिलकर बहुत खुश हैं । वहां से सुरक्षित आने को अल्लाह का इनाम बता रहे हैं । वही एमनेस्टी इंटरनेशनल के पूर्व सदस्य मानवाधिकार कार्यकर्ता मुजाहिद चौधरी ने उनका स्वागत किया.

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