मेडिकल कॉलेज में सफलतापूर्वक हुआ कूल्हे का ऑपरेशन-आंचलिक ख़बरें-महताब आलम

News Desk
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मेडिकल कॉलेज में सफलतापूर्वक हुआ कूल्हे का ऑपरेशन
अब जनपद में ही निःशुल्क इलाज की सुविधा
नहीं जाना पड़ेगा शहर से बाहर
गाजीपुर, 29 जनवरी 2022 –गोराबाजार स्थित महर्षि विश्वामित्र स्वशासी राज्य स्तरीय मेडिकल कॉलेज आमजन के लिए वरदान साबित हो रहा है। करीब एक सप्ताह पूर्व थाना करंडा के सिकंदरपुर निवासी कौशल्या देवी, उम्र 80 वर्ष के कूल्हे में फ्रैक्चर हो गया था. इसका सफलतापूर्वक इलाज व शुक्रवार को उन्हें डिस्चार्ज कर दिया गया।

मेडिकल कॉलेज के ऑर्थो सर्जन डॉ केके यादव बताते हैं कि इससे पहले किसी भी बड़े इलाज व सर्जरी के लिए लोगों को पड़ोस के जनपद का सहारा लेना पड़ता था। लेकिन अब गाजीपुर के मेडिकल कॉलेज (जिला अस्पताल) में भी बड़े व गंभीर ऑपरेशन शुरू हो चुके हैं। उनके द्वारा दो कूल्हे व दो घुटने के ऑपरेशन सहित 30 से 35 ऑपरेशन कर चुके हैं।

डॉ केके यादव ने बताया कि करीब एक सप्ताह पूर्व कौशल्या देवी के कूल्हे में किसी कारण फ्रैक्चर आ गया था। जिसके बाद उनके परिजन उन्हें जिला अस्पताल लेकर पहुंचे। वहाँ मेरे द्वारा उनकी सम्पूर्ण जांच की गयी और फिर उनके ऑपरेशन की प्रक्रिया शुरू की गई। ऑपरेशन सफलतापूर्वक किया गया। ऑपरेशन के करीब एक सप्ताह बाद किसी प्रकार की परेशानी न होने पर उन्हें शुक्रवार को डिस्चार्ज भी कर दिया गया। उनका दावा है कि अगले 15 से 20 दिनों में वह अपने पैरों पर खड़े होने लगेंगी।WhatsApp Image 2022 01 29 at 5.42.24 PM 1

डॉ केके यादव ने बताया कि इससे पहले भी एक मरीज का कूल्हे का ऑपरेशन किया जा चुका है। इसके साथ ही साथ दो बच्चे जिनकी उम्र लगभग करीब 12 साल है, उनके दोनों घुटने में मवाद भर गया था। जिसका सफलतापूर्वक ऑपरेशन कर उन्हें उनके पैरों पर चलाने का काम किया गया है। उन्होंने बताया कि ऐसे मरीजों के ऑपरेशन में निजी नर्सिंग होम में करीब एक से डेढ़ लाख रुपए खर्च आते हैं। जबकि जिला अस्पताल में नि:शुल्क इलाज की व्यवस्था प्रदान की गई है। उन्होने बताया कि सभी ऑपरेशन में डॉ चंद्रशेखर का भी विशेष योगदान रहा।

मेडिकल कॉलेज के अंतर्गत संचालित जिला अस्पताल के सीएमएस डॉ राजेश सिंह ने बताया कि मौजूदा समय में मेडिकल कॉलेज में 50 जूनियर डॉक्टर, 17 सीनियर डॉक्टर और 45 शैक्षिणीक संकाय के डॉक्टर कार्यरत है। मौजूदा समय में जिला अस्पताल में सभी तरह के डॉक्टर की भरमार है। आर्थो की बात करें तो अब जिला अस्पताल में आर्थो से संबंधित गंभीर मरीजों का ईलाज एवं ऑपरेशन शुरू हो चुका है।

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