केन्द्रीय विद्यालयों में सांसदो का विवेकाधीन कोटा खत्म-आँचलिक ख़बरें-विशेष संवादाता

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By News Desk
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मानव संसाधन विकास मंत्रालय (शिक्षा) ने केन्द्रीय विद्यालयों में छात्रों के नामांकन के लिए आरक्षित सांसदों की विवेकाधीन कोटे को खत्म कर दिया है। अब विद्यालय के प्राचार्य के विवेकाधीन और छात्रों द्वारा पूर्ण की जानेवाली अर्हता के आधार पर ही नामांकन होगा। इस निर्णय का उद्देश्य यह है कि सांसदों की अनुशंसा पर होनेवाले उद्दंड और केन्द्रीय विद्यालय की गरिमा को तोड़नेवाले छात्रों के नामांकन को रोका जा सके। अधिकांशतः देखा गया है कि सांसद के विवेकाधीन कोटे से नामांकन पानेवाले छात्र विद्यालय की गरिमा को तोड़ने का काम करते रहे हैं। वे न तो पढ़ाई पर विशेष ध्यान देते हैं और न ही विद्यालय में उनकी उपस्थिति होती है। अभीतक केन्द्रीय विद्यालयों में क्षेत्रीय सांसदों के विवेकाधीन कोटा से 10 छात्रों के नामांकन की व्यवस्था थी ।

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