नई दिल्ली – माननीय प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में राष्ट्रीय शिक्षा नीति (एनईपी) 2020 के तहत युवाओं के सशक्तिकरण और एक सीखने वाला इकोसिस्टम बनाने पर जोर दिया है, जो युवा पाठकों/सीखने वालों को दुनिया में भविष्य की नेतृत्व की भूमिकाओं के लिए तैयार कर सकता है।
इस लक्ष्य को बढ़ावा देने, और देश की आजादी की 75वीं वर्षगांठ मनाने के लिए, युवा लेखकों को परामर्श के लिये प्रधानमंत्री कि राष्ट्रीय योजना भविष्य के इन लीडर्स की नींव को मजबूत करने में योगदान देगी।
युवाओं की आबादी वाले देशों की सूची में भारत सब से ऊपर है, हमारे पास युवा शक्ति की भरपूर क्षमता और उर्जा है जिनका उपयोग राष्ट्र निर्माण में किया जा सकता है। यह जन सांख्यिकीय लाभ भारत और उसकी अर्थव्यवस्था को अभूतपूर्व बढ़त प्रदान करता है। रचनात्मक युवा लेखकों की एक नई पीढ़ी को प्रशिक्षण व परामर्श प्रदान देने के लिए राष्ट्रीय स्तर के प्रमुख कार्यक्रम एक भारत श्रेष्ठ भारत के तहत बड़े स्तर पर प्रयास करने की आवश्यकता है।
भारत की आजादी के 75वीं साल पूरे होने के अवसर परइस योजना के तहत भारतीय साहित्य के नए प्रतिनिधियों को तैयार करने की परिकल्पना की गई है। हमारा देश पुस्तक प्रकाशन के क्षेत्र में तीसरे स्थान पर है, और स्वदेशी साहित्य की इस निधि को आगे बढ़ाने देने के लिए, यह जरूरी है कि हम इसे वैश्विक स्तर पर पेश करें।
इस योजना से भारतीय विरासत, संस्कृति और ज्ञान को बढ़ावा देने के लिएयुवा लेखकों को तैयार करने में मदद मिलेगी, जोन केवल विविध विषयों पर लिख सकेंगेबल्कि इच्छुक युवाओं को अपनी मातृभाषा में लिखने और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर भारत का प्रतिनिधित्व करने का एक अवसर भी प्रदान करेंगे।
यह कार्यक्रम माननीय प्रधानमंत्री के वैश्विक नागरिक के दृष्टिकोण के अनुरूप होगा और भारत को विश्व गुरु के रुप में पुनः स्थापित करेगा।