North East Flood Warning: नॉर्थ ईस्ट में भारी बारिश की वजह से बाढ़ जैसे हालात पैदा हो गए हैं। बाढ़ से अब तक 32 लोगों की मौत हो गई तो वहीं 3300 से अधिक लोगों को बेघर होना पड़ा।
North East Flood 2025: समय से पहले मानसून ने देश के कई राज्यों में तबाही मचा रखी है। पूर्वोत्तर भारत के लगभग सभी राज्यों में बारिश का ऐसा कहर देखने को मिला हैं कि यहां बाढ़ जैसे हालात पैदा हो गए हैं। असम, मणिपुर, मिजोरम, सिक्किम, और अरुणाचल प्रदेश में बारिश के बवंडर ने लोगों का जीना मुश्किल कर दिया। भारी बारिश के कारण जीवन अस्त – व्यस्त हो गया। बाढ़ की वजह से 33 लोगों की मौत हो चुकी है। तो वहीं 3300 से अधिक परिवारों को बेघर होना पड़ा है। कई क्षेत्रों में तो भूस्खलन जैसे हालात हो गए है। पहाड़ी इलाकों में तबाही का मंजर इस कदर है कि लोगों के अंदर खौफ पैदा हो गया है।
सिक्किम में बाढ़ का बवंडर
सिक्किम में रविवार को मूसलाधार बारिश के बाद जीवन बुरी तरह से प्रभावित हुआ। सिक्किम के मंगन, थेंग, नीमचेन क्षेत्र में बारिश का ऐसा कहर आया कि बुनियादी ढांचे पूरी तरह से धराशाई हो गए। इन इलाकों में भूस्खलन की भी खबरें सामने आई हैं। वहीं सिक्किम के उत्तरी इलाके में स्थानीय और विदेशी पर्यटक फंस गए। तीस्ता नदी में उफान का कहर जारी है। यहां बढ़ते जलस्तर और नदी की तेज धाराओं की वजह से कई जमीनी रास्ते बह गए।
स्थानीय अधिकारियों के मुताबिक यहां पिछले तीन दिनों से भारी बारिश हो रही है। जिसकी वजह से बाढ़ जैसे हालात हैं। लगभग 1500 स्थानीय और विदेशी पर्यटक फंस हुऐ है। भारी बारिश की वजह से दो पुल पूरी तरह से क्षतिग्रस्त हो गए। इसके अलावा सिक्किम के लाचेन में 112 पर्यटक और लाचुंग में 1350 पर्यटक फंसे हुए है। अधिकारियों ने बताया सभी पर्यटकों को बचाने के लिए लाचुंग से थुंगथांग और थुंगथांग से थेंग सुरंग तक क्षतिग्रस्त सड़क को साफ करने के लिए BRO मशीनरी तैनात की गई है। बचावकार्य की कई टीमों को लगाया गया है। जल्द ही सभी लोगों को सुरक्षित निकाल लिया जाएगा।
मणिपुर में हालात बेकाबू
मानसून ने इस बार अनुमानित समय से पहले दस्तक देकर खलबली मचा दी है। सिक्किम से ज्यादा हालात तो मणिपुर के खराब हैं। मणिपुर में बुधवार से हो रही बारिश ने कहर बरपा रखा है। कई इलाके बाढ़ की चपेट में हैं। मणिपुर में अब तक 1900 से अधिक लोग बाढ़ से पर प्रभावित हैं। वहीं 3335 परिवार बेघर हो गए हैं। जानकारी के मुताबिक मणिपुर के सबसे ज्यादा प्रभावित जिले इंफाल और सेनापति है। इंफाल के कई इलाके तो बेकाबू हैं। स्थानीय प्रशासन ने बाढ़ से प्रभावित लोगों के लिए 31 राहत शिविर स्थापित किए हैं। ये शिविर इंफाल के पूर्वी जिले में ज्यादा है। इन शिविरों में प्रभावित लोगों को भोजन, पानी, दवा और रहने की व्यवस्था दी गई है।
वायु सेना का रेस्क्यू ऑपरेशन जारी
अरुणाचल प्रदेश के निचली देबांग घाटी में 14 लोग बाढ़ग्रस्त बोमजीर नदी के पास फंसे हुए है। ये सभी पिछले 24 घंटे से फंसे हुए है। इनके रेस्क्यू के लिए भारतीय वायुसेना बचाव कार्य में जुटी हुई है। जानकारी के मुताबिक भारतीय वायु सेना (Indian Air force) MI -17 हेलीकॉप्टर से प्रभावित लोगों का रेस्क्यू कर बाहर निकाला। ये रेस्क्यू ऑपरेशन असम और अरुणाचल प्रदेश के अनुरोध पर शुरू हुआ। अरूणाचल प्रदेश के सेप्पा पश्चिम विधानसभा क्षेत्र में बाढ़ की वजह से 7 लोगों की मौत हो गई। कई राजमार्ग पूरी तरह से ध्वस्त हो गए हैं। सेना के अधिकारियों ने बताया कि जब तक सभी लोगों को सुरक्षित नहीं निकाल लिया जाता। ऑपरेशन जारी रहेगा।
केंद्र सरकार ने जारी किए निर्देश
पूर्वोत्तर भारत के कई राज्यों में भारी बारिश की वजह से आई बाढ़ ने सामान्य जीवन अस्त व्यस्त कर दिया है। उसे देखते हुए केंद्र सरकार ने स्थानीय सरकार और प्रशासन को बचाव कार्य से जुड़े जरूरी दिशा – निर्देशों भी दिए हैं। ग्रह मंत्री अमित शाह ने बताया स्थिति की गंभीरता को देखते हुए केंद्र सरकार नज़र बनाए हुए है। सभी राज्यों के मुख्यमंत्रियों से फोन पर बातचीत हुई है। सरकार ने हर संभव मदद करने का वादा किया है। बता दें कि पिछले साल जून महीने में भारी बारिश की वजह से सिक्किम में बाढ़ और भूस्खलन आया था। तब नौ लोगों की मौत हो गई थी। इससे पहले साल 2023 में 179 लोगों की मौत हुई थी
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