आज का दिन किसको नहीं है याद
यह तो हर भारतीय का सौभाग्य है
जिसको भारत वंश का होने पर नाज़ है
भारत का हर एक कंण महान है
जिसका होता परम चक्र से सम्मान है
यह मेरा हिन्दुस्तान है
हर एक भारतीय की शान है
भारत वंश में हुआ अवतार है
रहे पराक्रम और बलिदान से भरे इतिहास
जिसके समाने हर एक भारतीय झुक कर
करता सलाम और नयन भर के करता है याद
भारत के हर वंश को मेरा प्रणाम है
जिन्होंने स्वतंत्र रहने का दिया उपहार है
कर लेते है आज के दौर की बात
आज तो छुपा हर किसी में कोई न कोई
प्रतिकार है शायद
इसलिए भगत सिंह ने दी थी जान
चले जाने के बाद करते रहना एक-दूसरे के
सिर पर वार
इन्कलाब का नारा क्यों नहीं रहा याद
जो करता है एक ही फरियाद एकता हमारी
बनी रही जीता रहे हर एक बलिदान
महात्मा गांधी कि सत्य,अहिंसा, सद्भावना
ना ही करना कोई तक़रार,दुश्मन यह ना समझना हम है बेजुबान
रानी लक्ष्मी बाई का बलिदान गवाह है याद करता हर एक पहचान है
लड़ना भी हमारी आन है
भारत वंश के सपूत आज
सीमा पर है तैनात वह ही है भारत का वरदान इसलिए
एक जुट होकर,लगाते है एक ही आवाज़
कर्मपथ पर लाने वाली मातृ मिटेंगे
तुम्हारे लिये हर एक बार ,
आँचल कि पंक्तियों में अगर हुआ है जनहित का कोई भी
अपमान हाथ जोड़कर करती हूँ आपसे क्षमा करने का अनुरोध
क्योंकि यह मेरे द्वारा ही रचित है विचार ।
युवा लेखिका आँचल सिंह जौनपुर