शाहजहांपुर-कैंब्रिज कान्वेंट की बढ़ती लोकप्रियता से घबराए लोग रच रहे है स्कूल के खिलाफ षड्यंत्र : विनिप अग्रवाल-आंचलिक ख़बरें-राहुल सिंह

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22 वर्षों से बेहतर शिक्षा के लिए समर्पित है कैंब्रिज कान्वेंट स्कूल : विपिन *
—कैंब्रिज कान्वेंट की बढ़ती लोकप्रियता से घबराए लोग रच रहे है स्कूल के खिलाफ षड्यंत्र : विनिप अग्रवाल

शाहजहांपुर/ से राहुल सिंह की रिपोर्ट

शाहजहांपुर। कैंब्रिज कान्वेंट स्कूल पुवायां के डायरेक्टर विपिन अग्रवाल ने बताया कि पिछले 22 सालों से छात्र-छात्राओं को बेहतर शिक्षा देने के लिए कैंब्रिज कान्वेंट स्कूल समर्पित है। इसीलिए स्कूल की बढ़ती लोकप्रियता से घबराकर कुछ लोगों के इशारे पर छात्र और उसके परिजनों ने एक षड्यंत्र के तहत स्कूल को बदनाम करने के लिए झूठे निराधार आरोप लगाए हैं। जांच के बाद सच्चाई सामने आ जाएगी
डायरेक्टर श्री अग्रवाल ने बताया कि कक्षा 10 में पढ़ने वाले छात्र आशुतोष बाजपाई पुत्र रवि प्रकाश बाजपेई ने गत दिनो जिस शिक्षक पर पिटाई का आरोप लगाया है। वह शिक्षक पिछले कई सालों से उनके विद्यालय में पढ़ाने का कार्य कर रहा है, लेकिन आज तक उनकी किसी भी तरह की कोई शिकायत नहीं मिली है। उन्होंने बताया कि छात्र आशुतोष बाजपेई पिछले कई सालों से पढ़ाई में ध्यान न देकर अनुशासनहीनता, सोशल मीडिया पर अभद्र भाषा का प्रयोग करते हुए वीडियो अपलोड करता रहता था। 12 जुलाई को इसी बात को लेकर स्कूल प्रशासन की ओर से उनके परिजनों को एक नोटिस भी जारी किया गया था। नोटिस मे 18 जुलाई को छात्र आशुतोष को अपने परिजनों के साथ बुलाया गया था, लेकिन वह लगातार अनुपस्थित रहा। 22 जुलाई को आशुतोष बाजपेई अपने पिता रवि प्रकाश वाजपेई, मां रेनू बाजपेई व पांच अन्य साथियों के साथ उनके स्कूल में आए और अभद्र भाषा का प्रयोग करते हुए नोटिस जारी करने पर आपत्ति की और भड़क उठे। स्कूल प्रबंधन ने जब उन्हें आशुतोष की हरकतों के बारे में बताया तो वह है अपने बेटे का समर्थन करते हुए बोले कि आशुतोष उनका इकलौता बेटा है, वह कुछ भी करें उससे विद्यालय प्रबंध तंत्र को क्या मतलब। इसके साथ ही उन लोगों ने स्कूल स्टाफ से अभद्रता करनी शुरू कर दी और इसके बाद उन्होंने शिक्षक पर थप्पड़ मारने का झूठा आरोप लगा दिया। डायरेक्टर विपिन अग्रवाल ने बताया कि आशुतोष के परिजन जो आरोप लगा रहे हैं, वह पूरी तरह से निराधार है। क्योंकि आशुतोष के एक कान की नस बचपन से ही ब्लॉक है, जबकि दूसरे कान से भी पिछले कई सालों से पस आने की शिकायत है। जिसका परिजनों ने कई अस्पतालों में उपचार कराया, लेकिन जब फायदा नहीं हुआ, तो उन्होंने अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान नई दिल्ली (एम्स) में उसे दिखाया। जहां आशुतोष के दोनों कानों का उपचार चल रहा है। जिसकी मेडिकल रिपोर्ट भी उनके के पास है। क्योंकि उसी मेडिकल रिपोर्ट के आधार पर 24 सितंबर 2018 तथा 6 अक्टूबर 2018 को आशुतोष के परिजनो ने विद्यालय से आशुतोष को एम्स में दिखाने की बात कहकर आशुतोष की स्कूल से छुट्टी ली थी। ऐसे में छात्र की पिटाई का कोई सवाल ही नहीं बनता है। उन्होंने बताया कि आशुतोष, उसके परिजनों द्वारा जो भी आरोप स्कूल के शिक्षक और स्कूल प्रबंधन तंत्र पर लगाए जा रहे हैं। उसकी वह किसी भी जांच एजेंसी से जांच करा लें। वह हर तरीके की जांच के लिए तैयार हैं उन्होंने बताया कि स्कूल के मेन गेट से लेकर हर क्लासरूम में उनके यहां सीसीटीवी कैमरे लगे हुए हैं। जिसकी सीसीटीवी फुटेज भी देखी जा सकती हैं। उन्होंने बताया कि छात्रा उसके परिजन स्कूल को बदनाम करने और दो लाख रूपये लेने के इरादे से ये झूठे आरोप लगा रहे है।

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