अचल प्रशिक्षण केंद्र पर मनाया गया ‘विश्व श्रवण दिवस-आंचलिक ख़बरें-रितेश मलिक

News Desk
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बहराइच 03 मार्च। मुख्य चिकित्साधिकारी कार्यालय के अचल प्रशिक्षण केंद्र पर विश्व श्रवण दिवस मनाया गया। कार्यक्रम में राष्ट्रीय बधिरता बचाव एवं रोकथाम कार्यक्रम के नोडल अधिकारी डॉ अजीत चन्द्र के साथ-साथ ईएनटी सर्जन डॉ० एस के वर्मा, डॉ० पी तिवारी आदि चिकित्साधिकारी एवं आशा बहु और एएनएम मौजूद रही। कार्यक्रम के नोडल डॉ. अजीत चन्द्रा ने बताया कि भारतीय उपमहाद्वीप में लगभग 63 मिलियन लोग गंभीर रूप से सुनने की समस्या से पीड़ित हैं। इस आंकड़े में बचपन के बहरेपन की हिस्सेदारी लगभग 22 मिलियन है। इस समस्या को देखते हुए बहरेपन की रोकथाम, डायग्नोसिस और मैनेजमेंट बेहतर ढंग से करना जरूरी है। ईएनटी सर्जन डॉ० एस० के० वर्मा ने बताया कि हर साल 3 मार्च को विश्व श्रवण दिवस मनाया जाता है। इसका मकसद लोगों को बहरेपन की समस्या के बारे में जागरूक करना और इसके खतरों की जानकारी देना होता है।
विश्व स्वास्थ्य संगठन के मुताबिक, आज के समय में 400 मिलियन लोगों अपनी सुनने की क्षमता खो चुके है। इसका बड़ा कारण यह है कि लोग अपने कान में होने वाली आम समस्याओं को नजरअंदाज कर देते हैं। समय पर इन परेशानियों पर ध्यान न देने से बहरेपन हो सकता है। बहरापन समाज को काफी हद तक प्रभावित करता है. बहरापन मिडिल (मध्य) कान या भीतरी कान में हुई किसी परेशानी की वजह से हो सकता है। इसके अलावा कई लोगों में जन्म से और बढ़ती उम्र में बहरेपन का शिकार हो सकते हैं। उन्होंने कहा कि इससे बचने के लिए लोग कान में होने वाली छोटी परेशानियों को भी नजरअंदाज न करें। इस मौके पर यूनिसेफ के साकेत शुक्ला यूनिसेफ, यूपीटीएसयू के यशपाल मिश्र, बीपीएम दुर्गेश सिंह, एनसीडी सेल से विवेक श्रीवास्तव, मो० हारून, शक्ति सिंह एवं एनसीडी क्लीनिक की टीम मौजूद रही।

 

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