देश को एनआरसी में फंसाकर सार्वजनिक उपक्रमों को बेच रही है केंद्र सरकार : कन्हैया
जेएनयू छात्रसंघ के पूर्व अध्यक्ष एवं भाकपा नेता डॉ कन्हैया कुमार ने जितवारपुर स्थित हाउसिंग बोर्ड मैदान में जन-मन-गण यात्रा के दौरान लोगों को संबोधित किया। अपने लगभग 45 मिनट के सम्बोधन में कन्हैया ने केंद्र सरकार पर तेज हमला करते हुए कहा की एनआरसी/सीएए/एनपीआर कानून की आड़ में केंद्र सरकार देश की सार्वजनिक संपत्तियाँ बेच रही है। उन्होने कहा की संविधान निर्माता ने देश की बनावट ऐसी की थी की कोई संस्था या व्यक्ति धर्म के आधार पर इसे विभाजित नहीं कर सके, मगर मौजूदा दौर में न केवल लोगों को धर्म के आधार पर विभाजित किया जा रहा है, अपितु केंद्र सरकार देशवासियों को इसमे उलझाकर अन्य मूलभूत आवश्यकताओं से पल्ला झाड़ते हुए एलआईसी, रेलवे, बीएसएनएल, भारत पेट्रोलियम सरीखी नवरत्न धरोहरों को पूँजीपतियों के हाथों कौड़ियों के भाव में बेचकर गरीबों के पेट पर लात मारते हुए उद्योगपतियों को फायदा पहुंचाने का काम कर रही है। कई जगहों पर उनके काफिले पर हुए हमले का जिक्र करते हुए कन्हैया ने हमलावरों पर तंज़ कसते हुए कहा की गोली और गाली का प्रयोग कमजोर लोग करते हैं, ये देश गांधी और अंबेडकर के सिद्धांत पर चलनेवालों लोगों की है, गोडसे कभी भी हमारे नौजवानों के आदर्श नहीं हो सकते हैं। कन्हैया ने कहा की जिस प्रकार अंग्रेजों ने फुट डालो-राज करो की नीति अपनाकर देश को गुलाम बनाए रखा, उसी प्रकार देश की नरेंद्र मोदी सरकार युवाओं को एक धर्म विशेष का भय दिखाकर उनको मानसिक गुलाम बना रही है। अपने विशेष मज़ाकिया अंदाज में कन्हैया ने कहा की हमारा महान देश भारत आज उस परिस्थिति से गुजर रहा है जहां जिस राज्य में चुनाव होना होता है, वहाँ की आकाश में धर्म का बादल छा जाता है, अभी कुछ दिन पहले यह बादल दिल्ली के आसमान पर बरसा है, अब यह बिहार की तरफ बढ़ चला है। राज्य सरकार पर भी प्रश्न खड़े करते हुए उन्होने कहा की आखिर क्या कारण है की नितीश कुमार इतने वर्षों तक मुख्यमंत्री रहते हुए भी अपने राज्य में रोजगार सृजन हेतु आधारभूत सुविधाएं मुहैया नहीं करवा सके? कार्यक्रम के दौरान किसी प्रकार कि अनहोनी न हो सके, इसके लिए पूरे कार्यक्रम के दौरान प्रशासन द्वारा सुरक्षा कि चाक-चौबन्द व्यवस्था देखी गयी। सदर अनुमंडलाधिकारी अशोक मण्डल, सदर डीएसपी प्रितीश कुमार, नगर थानाध्यक्ष सीताराम प्रसाद, मुफ़स्सिल थानाध्यक्ष विक्रम आचार्य के साथ कई अन्य थानों के थानाध्यक्ष एवं सैकड़ों की संख्या में सुरक्षाबल मुस्तैद दिखे।