कोटर नायब तहसीलदार प्रदीप तिवारी की खुलेआम गुण्डागर्दी-आंचलिक ख़बरें-पुष्पेन्द्र कुमार त्रिपाठी

Aanchalik Khabre
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कोटर नायब तहसीलदार प्रदीप तिवारी की खुलेआम गुण्डागर्दी पत्रकार आशीष त्रिपाठी पर खनन माफियाओं के साथ मिलकर किये गए जानलेवा हमले की न्यू आदर्श श्रमजीवी पत्रकार संघ राष्ट्रीय के सतना जिला महामंत्री के सी शुक्ला ने चौथे स्तंभ के ऊपर हुए प्राणघातक हमले की भर्त्सना और निंदा की है.
सतना ।। न्यू आदर्श श्रमजीवी पत्रकार संघ राष्ट्रीय के सतना जिला महामंत्री पं के सी शुक्ला ने आज पत्रका आशीष त्रिपाठी के ऊपर कोटर नायब तहसीलदार प्रदीप तिवारी की गुंडागर्दी चरम सीमा पर पहुंच चुकी है बिरसिंहपुर तहसील के बाद कोटर तहसील में चला रहे गुंडाराज सच का साथ देने वाले पत्रकार आशीष त्रिपाठी पर खनन माफियाओं के साथ मिलकर व्यूह रचना कर तहसील के अंदर प्रदीप तिवारी ने बुलवाया और उसके खनन माफिया साथी जो पहले से मौजूद थे चितगढ़ सरपंच विक्रम सिंह जिसके ऊपर कई संगीन अपराध जैसे धारा 307 आदि के दर्जनों गंभीर अपराध दर्ज है उसने तहसील कार्यालय का बाहर से दरवाजा बंद कर दिया फिर तहसील मुख्यालय के अंदर प्रदीप तिवारी का असली चेहरा सामने आया और पत्रकार आशीश त्रिपाठी की जमकर लात घुसो और लाठी से भयंकर बुरी तरह से मारपीट कर प्राणघातक चोटें पहुंचाई और झूठे मुकदमे में फसाने का प्लान तैयार किया और पुलिस को बुलाकर कोटर थाने में एफआईआर दर्ज कराने की कोशिश की लेकीन उसकी चाल सफल नहीं हो पाई। पूरा सतना जिले की मीडिया जगत ,समाज सेवी संगठन और अखिल भारतीय मानवाधिकार संगठन भारत मध्य प्रदेश के अधिकारियों एवं राजनैतिक दलों के नेताओं ने कोटर थाना प्रभारी से बात कर न्याय करने की अपील की जैसे ही कोटर थाना प्रभारी श्रीराम सनोडिया को पता चला ये झूठा मुकदमा दर्ज कराने की फिराक में हैं कोटर नायब तहसीलदार प्रदीप तिवारी , तो आशीष त्रिपाठी को छोड़ दिया गया है उनकी पीठ और कमर में गहरी प्राणघातक चोटे आई हैं। कोटर नायब तहसीलदार प्रदीप तिवारी अपने काम के लिए कम और गुंडई के लिए ज्यादा फेमस है उनकी घूसखोरी जिले भर में मशहूर हैं फिर भी उनके ऊपर करवाही करने की हिम्मत सतना जिले के अधिकारियों मे नहीं है उनको भी डर लगता कि कहीं आशीष त्रिपाठी की तरह उनका भी हाल न हों जाए कोटर तहसील क्षेत्र के 84 गांवों के लोग नायब तहसीलदार प्रदीप तिवारी की घूंसखोरी और गुण्डा गर्दी से परेशान और त्रस्त हैं तथा कोटर तहसील श्रेत्र के आमजनमानस समुदाय गरीब तबके के असहाय अनाथ लोग भयभीत और पीड़ित हैं

अगर समय रहते उनके ऊपर शासन प्रसासन ने करवाही नहीं की तो आने वाले चुनाओ में रामपुर बघेलान में सत्ता पक्ष को भारी नुकसान उठाना पड़ेगा कोटर तहसीलदार को तुरन्त बालाघाट या भिण्ड मुरैना भेजा जाए ये कोटर जैसे शांत एरिया में रहने लायक नहीं हैं इनका इलाज वहीं होगा.

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