ग्राम पंचायत करोदी में विधुआ आदिवासी महिला अपने आवास में रास्ते के लिए दर दर भटक रही हैँ।️
जनपद पंचायत शाह नगर के अंतर्गत ग्राम पंचायत सलैया फेरन सिंह के ग्राम करौंदी में प्रधानमंत्री आवास स्वीकृति हुए हैँ. जिनका निर्माण कार्य चालू है। करीव 2 वर्ष पूर्व में राम बाई सुनील आदिवासी का आवास उनके छोटे भाई संभु आदिवासी का आवास एवं स्वीकृत किया गया था। जिसका निर्माण कार्य पूरा हों चूका हैँ. वही अब 2021 में धनीराम यादव का आवास ग्राम पंचायत के द्वारा स्वीकृत किया गया हैँ. जिसका निर्माण कार्य रामबाई सुनील आदिवासी की ज़मीन पर चालू हैँ. जिसके कारण बिधावा राम बाई अपने आवास में कही से भी आ जा नहीं सकती हैँ. अब सवाल यह उठ रहा हैँ की क्या आवास केवल शौ फीस मात्र के लिए सरकार द्वारा बनाए जा राहे हैँ. या हितग्राही उसका उपयोग भी कर सकता हैँ. इसका मतलब साफ हैँ की ग्राम पंचायत के सम्बंधित कर्मचारीयों के द्वारा मोके पर पहुंच कर आवास का निरिक्षण नहीं किया जाता या फिर जानबूझ कर पंचायत कर्मी इसको नज़र अंदाज कर रहे हैँ. क्योंकि गरीब असहाय विधुआ महिला निवेदन के आलावा कर भी क्या सकती हैँ। ज़ब यादव से इस सम्बन्ध में पूछा गया तो बताया गया की हमने पीड़ित के देवर से ज़मीन खरीदी हैँ. जिसकी कोई भी रजिस्ट्री खरीददार के पास नहीं हैँ। अब सवाल यह उठ रहा है की क्या गरीब आदिवासी की ज़मीन का इस तरह से विक्रय किया जा सकता हैँ। यदी कोई ज़मीन बेचेगा तो अपने हिस्से की या फिर अपने स्वर्गीय भाई एवं भाभी के हिस्से की वह भी इस तरह से की पीड़ित अपने घर तक भी ना पहुंच सके। जिसकी शिकायत पीड़ित के द्वारा बोरी पुलिस चौकी में की गई थीं. जिसकी शिकायत पर चौकी प्राभरी पवन प्रजापति मोके पर पहुंच कर दोनों पक्षो को समझया था ताकि आपसी विवाद न हों सके। परन्तु मामला राजस्व विभाग से जुडा होने के कारण पुलिस कोई कार्यवाही नहीं कर सकती.
सलैया फेरान सिंह पटवारी कुसुम का कहना हैँ की मुझे इस सम्बन्ध मे जानकरी प्राप्त हुई हैँ कल मोके पर पहुंच कर निरिक्षण किया जायेगा इसके बाद आगे की कार्यवाही की जाएगी.
विधवा आदिवासी महिला अपने आवास में रास्ते के लिए दर दर भटक रही है-आंचलिक ख़बरें-मनीष गर्ग

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