Water Conservation: विश्व जल दिवस के उपलक्ष में रामकृष्ण जयदयाल डालमिया सेवा संस्थान द्वारा जल एवं पर्यावरण संरक्षण से संबंधित प्रतिवर्ष जल दिवस के अवसर पर चिड़ावा विकासखंड अंतर्गत संपन्न कराई जाने वाली अमृत जालम कलश यात्रा का शुभारंभ आज ग्राम गोविन्दपुरा से “अमृत जलम” कलश यात्रा के साथ प्रारम्भ हो गया। इसके शुभारम्भ के अवसर पर मुख्य अतिथि राष्ट्रीय स्तर पर सम्मानित कथावाचक प्रभुशरण तिवारी , संस्थान के परियोजना प्रबंधक भूपेन्द्र पालीवाल एंव डालमिया ट्रस्ट के प्रशासनिक अधिकारी कुलदीप कुल्हार, अमृत जलम कलश यात्रा के सँयोजक संस्थान के जल सँसाधन समन्वयक सँजय शर्मा, कृषि समन्वयक शुबेन्द्र भट्ट उपस्थित थे।
भविष्य में जल को संकट लेकर उत्पन्न न हो इसलिए Water Conservation जरुरी है
कार्यक्रम का शुभारंभ संस्थान के पदाधिकारी एवं मुख्य अतिथि तिवारी जी द्वारा कलश पूजन करके एवं आचार्यकुलदीप शास्त्री द्वारा मंत्रोंचारण के माध्यम से कलश में संस्थान द्वारा गांव में बनाए गए वर्षा जल संग्रहण कुंड से महिलाओं द्वारा लाए गये वर्षाजल को स्थापित करके किया गया। इस अवसर पर मुख्य अतिथि महोदय द्वारा शास्त्रों एवं वेदों के माध्यम से Water Conservation एवं पर्यावरण संरक्षण के महत्वपूर्ण बिंदुओं पर प्रकाश डाला गया ।
भूपेन्द्र पालीवाल द्वारा घटते भूजल को रोकने, भविष्य में जल संकट को लेकर उत्पन्न होने वाले भयावय स्थिति एवं बचाव हेतु सावधानियों, कलश यात्रा के उद्देश्य के बारे में बताया गया । साथ ही उन्होनें बताया कि गोविन्दपुरा गाँव वर्षा जल संरक्षण में अग्रणी एवं अतुलनीय योगदान रहता है।
पालीवाल ने बताया कि समाज में सभी को जैसे कि महिलाओं, विद्याथिर्यों, किसानों को अपने-अपने स्तर पर जल बचत एंव सरंक्षण के प्रयास करने होगें। उन्होनें बताया कि इस यात्रा का मुख्य उदेश्य समाज को वषार्जल एंव भूजल के प्रबंधन के तरीकों की जानकारी देना, संस्थान द्वारा किये जा रहे Water Conservation के प्रयासों से समाज को अवगत कराना तथा समाज में Water Conservation के प्रति जागरूकता लाना है।
संजय शर्मा ने संस्थान की गतिविधीयों के बारे में विस्तार पूवर्क बताने के साथ 5 दिवसीय कलश यात्रा की रूपरेखा ग्रामीणों से साझा करते हुए बताया कि अमृत जलम कलश यात्रा 18 मार्च से प्रारम्भ होकर 22 मार्च को संस्थान प्रांगण, चिड़ावा में इसका समापन होगा। गोविन्दपुरा गांव के बालाजी मँदिर प्राँगण से सभी ग्रामीण महिलाओं ने मंगल गीत गाते हुए पुरूषों एंव युवाओं के साथ अमृत जलम कलश यात्रा के रथ को गांव की सीमा तक पहुंचाया। कार्यक्रम की अध्यक्षता ग्राम विकास समिति के अध्यक्ष सवाई सिंह द्वारा की गई।
कार्यक्रम में उपस्थित विशिष्ट अतिथि कप्तान मोहर सिंह जी द्वारा भारतीय सेवा में रहते जल के महत्व को याद करके ग्रामीण जनों को Water Conservation के महत्वता से अवगत करवाया। इस अवसर पर कई ग्रामीण जनों द्वारा जल एवं पर्यावरण संरक्षण पर संबोधन देकर जल चेतना संरक्षण को बल प्रदान किया गया। अतिथियों द्वारा कलश को श्रीमती सरोज देवी को सौंप कर महिलाओं द्वारा मंगल गीत गाकर रथ को मनफरा के लिए रवाना किया अंत में कप्तान धर्मपाल जी द्वारा कार्यक्रम में आए हुए सभी अतिथि गणों, ग्रामीण जनों एवं बच्चों का धन्यवाद ज्ञापित किया गया
गोविंदपुरा से यह रथ गांव जाखोड़ा एवं भैरूगढ़ पंहुचा वहां पर ग्रामीणों द्वारा अमृत जलम कलश का स्वागत किया साथ ही सभी को जल रथ के माध्यम से पानी एंव पयार्वरण की जानकारी दी गयी। इसके बाद गांव के शुद्ध जल में से कुछ जल अमृत कलश में डालकर उसकी पूजा कर मनफरा गांव के लिए रवाना किया। मनफरा से कलश में शुद्ध जल लेकर रथ गांव बजावा व सैनीपुरा पहुचा वहाँ से मँडेला, दिलावरपुरा, घूमनसर, मालीगाँव,नारनौद होते हुए अलीपुर पहुँचा जहाँ ग्रामीणों एवं महिलाओं द्वारा मंगल गीत गाते हुए इस रथ का स्वागत किया गया साथ ही संस्थान द्वारा एक मीटिंग के माध्यम से सभी को जल संरक्षण हेतु जागरूक होने का संदेश दिया। सभी गांवों में जल रथ का पूजन करने पर सभी उपस्थित ग्रामीणों को प्रसाद वितरण किया गया।
अमृत जलम कलश यात्रा का मुख्य उद्देश्य Water Conservation के प्रति जागरूकता लाना
अमृत जलम कलश यात्रा द्वारा Water Conservation हेतु जागरूकता कायर्क्रम के लिए गोविन्दपुरा व अन्य गांवों के ग्रामीणों ने अतिथियों एंव संस्थाकमिर्यों का आभार व्यक्त करते हुए माल्यार्पण कर स्वागत किया। संस्थान के वरिष्ठ जल पर्यवेक्षक सूरजभान रायला,बलवान सिहँ,आई टी आॅफिसर मोनिका स्वामी, कृषि अधिकारी राकेश महला, क्षैत्रिय पर्यवेक्षक अनिल कुमार सैनी, मानसिहँ, अजय बलवदा, नरेश आलडिया एंव समस्त गांव के ग्राम विकास समिति के अध्यक्ष एवं सदस्य तथा सभी गांवों के ग्रामीण महिलाऐं एवं पुरुष उपस्थित रहे।
दिनांक 19 मार्च को अमृत जलम कलश यात्रा का रथ ग्राम जखोडा से प्रारम्भ होकर धतरवाला, कुतुबपुरा, आलमपुरा, गोवली,चैनपुरा,बदनगढ, इस्माईलपुर, लाम्बा गोठड़ा, ढाणी इस्माईलपुर एंव इक्तावरपुरा पहुंचेगा।
झुन्झुनू(चंद्रकांत बंका)
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